मेरे भारत का ही गुणगान करे सारा जहाँ,
सिवा इसके वो चैन और वो आराम कहाँ!
हर तरफ शांति और शांति बस शांति रहे,
सारी दुनिया को मिले ऐसा ही पैगाम यहाँ |
मेरे भारत ......................... आराम कहाँ !
हर धर्म और हर मजहब की क़द्र करते हैं ,
हर इंसान को मिले प्यार और सम्मान यहाँ |
मेरे भारत ......................... आराम कहाँ !
मिलजुल के करें काम यहाँ लोग सभी ,
नामुमकिन नहीं प्यारे कोई भी काम यहाँ |
मेरे भारत ......................... आराम कहाँ !
हर सीने में है फौलाद ही फौलाद भरा ,
दुश्मन की हर एक चाल हो नाकाम यहाँ |
मेरे भारत ......................... आराम कहाँ !
प्रवेश
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